Khabari Post Health Tips: बारिश और उमस भरे मौसम में त्वचा पर फंगल और बैक्टीरियल संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है। इस संक्रमण से हाथ-पैर, कोहनी, पंजे और जांघ में काफी परेशानी होती है। ऐसे मौसम में त्वचा को स्वस्थ रखना अतिआवश्यक है।

Khabari Post Health Tips: बारिश और उमस भरे मौसम में त्वचा पर फंगल और बैक्टीरियल संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है। इस संक्रमण से हाथ-पैर, कोहनी, पंजे और जांघ में काफी परेशानी होती है। ऐसे मौसम में त्वचा को स्वस्थ रखना अतिआवश्यक है। यह कहना है कमला पति त्रिपाठी जिला संयुक्त चिकित्सालय के त्वचा रोग विशेषज्ञ डॉ अनुज सिंह का। उन्होंने बताया कि सामान्य तरीके से अपनी त्वचा की देखभाल की जा सकती है लेकिन त्वचा में होने वाले संक्रमण के लिए चिकित्सक की सलाह व उपचार लेना आवश्यक है। 

त्वचा पर फंगल संक्रमण का बढ़ जाता है खतरा 

ऐसे मौसम में त्वचा को स्वस्थ रखना महत्वपूर्ण है – डा. अनुज सिंह   

डॉ सिंह ने बताया कि एक महीने में फंगल संक्रमण के लगभग 2000 से ज्यादा मरीजों का इलाज किया जा चुका है। उन्होंने बताया कि इस मौसम में कभी धूप तो कभी बारिश कि वजह से गीले कपड़ों और पसीने के कारण समस्या भी हो रही है। इसमें पैरों में चकत्ते पड़ना, दर्द होना और एलर्जी जैसे लक्षण दिखाई देते हैं।

देर तक भीगे रहने से त्वचा पर लाल रंग के धब्बे पड़ने के साथ ही खुजली, फंगल इंफेक्शन, पैर की उंगलियों में इंफेक्शन, मुंहासे और एक्जिमा, खुजली, सूजन, आदि त्वचा संबंधी अनेक समस्या उत्पन होती हैं। जैसे लाल रंग के दाने में उत्पन्न होने वाली यह समस्या पसीने से होती है। इसमें रोम छिद्र बंद हो जाते हैं। घमोरियां खत्म होने में कुछ दिन लगते हैं। खुजलाने से इनका इंफेक्शन बढ़ता है, इसलिए कोशिश करें कि हल्के कॉटन सूती के कपड़े पहनें। खुजली आने पर साफ सूती कपड़े से हल्के हांथों का इस्तेमाल करें।

बरतें सावधानी – 

  • बारिश के मौसम में कई बार नेल इन्फेक्शन हो जाता है | लिहाजा बड़े नाखून रखने से बचें, क्योंकि इस मौसम में नाखून में गंदगी बैठती है, जिससे फंगल इंफेक्शन होने का खतरा बढ़ जाता है | 
  • पैरों में फिट न आने वाले जूते पहनने से कई बार फंगल इन्फेक्शन हो जाता है | बारिश के मौसम में प्लास्टिक, लेदर या कैनवस जूते पहनने से बचें | इनकी जगह चप्पल या फ्लिप-फ्लॉप पहनना चाहिए , जिससे आपके पैरों को हवा लग सके | 
  • फंगल इंफेक्शन एक व्यक्ति से दूसरे को हो जाती है | ऐसे में यदि एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति के कपड़े, तौलिया, चप्पल या साबुन आदि इस्तेमाल करता है तो उसे भी यह संक्रमण हो जाता है | यह संक्रमण एक ही परिवार के सभी लोगों को भी हो सकता है | 

उमस व गर्मी से बचने के लिए सूती व कॉटन के ढीले कपड़े पहने,तंग कपड़े पहनने से बचें |  

इस तरह करें त्वचा की देखभाल – 

डॉ अनुज ने कहा कि इस मौसम में गर्मी और उमस से बचने के लिए सूती व कॉटन के ढीले कपड़े पहनें। कपड़े की सफाई पर विशेष ध्यान देना होगा, डिटोल की कुछ बूँद पानी में डाल कर साफ करें| कपड़ो को धूप जरूर सुखाये |  

हाथ, पैर की सफाई पर विशेष ध्यान देना चाहिए|  पैरों को साफ और सूखा रखें और धुले हुए कॉटन के मोजे पहनें | 

चेहरे को दिन में तीन से चार बार साफ पानी से जरूर धोएं | बारिश में भीग गए है कुछ घंटों बाद सुख गए है फिर भी घर आकर   स्नान जरूर करें | 

पेय पदार्थों जैसे चाय, कॉफी और तले-भुने खाद्य पदार्थों के सेवन से बचें। इनसे त्वचा बेजान और रुखी होती है |