आदर्श नगर पंचायत चकिया द्वारा नियमों का हवाला देकर वाहनों से पार्किंग शुल्क ले व पुलिस विभाग द्वारा नियम विरूद्ध कहकर पार्किंग शुल्क लेने वाले नगर पंचायत द्वारा नियुक्त वसूली करने वाले पर कर रही कार्यवाही
खबरी पोस्ट नेशनल न्यूज नेटवर्क
चकिया‚चंदौली। कहावत में अंधर नगरी चौपट राजा व वन के राजा शेर को पता नहीं और ….. ने वन बाट लिया दोनों आदर्श नगर पंचायत चकिया कार्यालय , उसके जनप्रतिनिधि पर सटीक बैठता हैं!
प्रवेश करने के नाम पर वाहन से की जा रही शुल्क की वसूली
हम इसलिए कहं रहें हैं कि दो दिन से एक नाटक चल रहा हैं कि लम्बे समय से नियमों को ताक पर रखकर आदर्श नगर पंचायत द्वारा आदर्श नगर पंचायत चकिया में प्रवेश करने के नाम पर वाहन से शुल्क की वसूली हो रहीं हैं चाहें लतीफशाह रोड़ से सीधे चन्दौली जा रहें वाहन हो या अहरौरा से मुगलसराय रोड़ से जा रहा हैं !
आय बढ़ाने के नाम पर पार्किंग शुल्क… भले ही पुरे उत्तर प्रदेश में यह पथकर बंद हैं!
नगर में प्रवेश करतें हुए कहीं भी नगर में जा रहें वाहन हो …शुल्क देना हैं नगर पंचायत की आय बढ़ाने के नाम पर पार्किंग शुल्क… भले ही पुरे उत्तर प्रदेश में यह पथकर बंद हैं! …आदर्श नगर पंचायत चकिया के पार्किंग सुविधा भले ही इस्तेमाल न करें लेकिन शुल्क देना होगा
रीयल सिंघम सी ओ द्वारा चल रहीं कार्यवाही और कर्मचारियों में मचा भगदड़
अभी दो – तीन नाटक चल रहें हैं इसका जिक्र इसलिए कर रहा हूँ कि यह खबर आ रहीं हैं कि रीयल सिंघम सी ओ साहब द्वारा कई जगह पार्किंग शुल्क के नाम पर वसूली कर रहें नगर पंचायत चकिया द्वारा नियुक्त कर्मचारी पर कार्रवाई चल रहीं हैं और उन कर्मचारियों में भगदड़ मचा हैं!
दो अधिकारियों का दिख रहा अर्न्तविरोध
जबकि आदर्श नगर पंचायत चकिया में निर्वाचित चेयरमैन की दुःखद मौत के बाद लम्बे समय से उपजिलाधिकारी ही प्रशासक बने हैं तो सीओ साहब द्वारा यह छापा की कार्रवाई क्यों तत्काल प्रशासक द्वारा पार्किंग शुल्क के नाम पर वसूली बंद क्यों नहीं…. यह दो अधिकारियों का आपसी अंतर विरोध नहीं दिखाती हैं!
पार्किंग शुल्क के नाम पर वसूली का विरोध लगातार हो रहा
पार्किंग शुल्क के नाम पर वसूली पर रोक की बात तो इसका विरोध लगातार हो रहा था! मण्डल आयुक्त जब चकिया समीक्षा बैठक में आये थे तो इनको और निवर्तमान जिला अधिकारी नवनीत चहल जी को मांग पत्र सौपकर वसूली पर रोक लगाई जाने की मांगआईपीएफ की तरफ से उठायी थी !
पथकर 2004 से ही पूरे प्रदेश में बंद हैं! तो आदर्श नगर पंचायत चकिया में पार्किंग शुल्क के नाम पर वसूली क्यों
बताया कि पथकर 2004 से ही पूरे उत्तर प्रदेश में बंद कर दिया गया हैं! और वाहन द्वारा नगर पंचायत के पार्क का प्रयोग नहीं किया जा रहा हैं तो आदर्श नगर पंचायत चकिया में पार्किंग शुल्क के नाम पर वसूली क्यों…. जबाब संतोष जनक नहीं मिला था … जनप्रतिनिधियों की तरफ से हम नहीं जानते हैं कोई बैठक में प्रस्ताव – टेंडर नहीं पास हुआ हैं.. रटा हुआ जवाब ।
नगर पंचायत द्वारा पर्यटन स्थल लतीफ शाह में अपनी सीमा के बाहर जाकर पार्किंग शुल्क की वसूली
और तो और आदर्श नगर पंचायत द्वारा पर्यटन स्थल लतीफ शाह में अपनी सीमा के बाहर जाकर पार्किंग शुल्क की वसूली वन विभाग की जमीन पर पार्किंग बनाकर…. वन विभाग का जवाब हमने कोई लिखित अनुमति नहीं दिया…. वही उक्त जमीन पर वनाधिकार कानून के तहत बसें लोगों अपनी दावा तहसील – वन विभाग में पेश किए हैं ।
वन के राजा को जानकारी नहीं वन बाट लिया गया
उनके दावे का निस्तारण किए बिना उनको बेदखल… इसलिए हमने उपर कहा था कि अंधेर नगरी चौपट राजा हैं और वन के राजा को जानकारी नहीं वन बाट लिया गया… आदर्श नगर पंचायत चकिया में जन प्रतिनिधत्व करने की आस लगाए विभिन्न दलों के भावी प्रत्याशी के लिए यह कोई मुद्दा ही नहीं हैं!
नगर पंचायत में हाजरी लगाने के नाम पर लिया जाता हैं पैसा
आदर्श नगर पंचायत चकिया में अराजकता का बोलबाला हैं नाम न बताने की शर्त पर सफाई कर्मचारी बताते हैं कि हाजरी लगाने के नाम पर पैसा लिया जाता हैं ( इस बात को हम तसदीक़ नहीं कर रहें हैं) मजेदार तो अभी बातें अफवाह के रूप में या सच्चाई में फैली या फैलाया गया कि आदर्श नगर पंचायत चकिया के जवाबदेह अधिकारी निलंबित हो गए..।
शासन द्वारा निलम्बन, उक्त अफवाह या सच्चाई का उक्त अधिकारी ने भी किया तस्दीक
शासन द्वारा, उक्त अफवाह या सच्चाई का उक्त अधिकारी ने भी तस्दीक किया ( तस्दीक का रिकार्ड आवाज मौजूद हैं) कई लोगों ने उक्त अधिकारी के निलंबित होने पर खुशी भी जाहिर किया! कई लोगों ने निलंबित कराने का श्रेय भी लिया! निलंबित होने पर खुशी वाले ने भी मिठाई खाया – खिलाया वहीं नगर पंचायत के तरफ़ से मिठाई खाया – खिलाया गया…. लेकिन सच्चाई जो भी हो… यह परिस्थितियों का अनुभव पहली बार हुआ…. समस्या – हल सभी आशंकाओं के बीच…. आदर्श नगर पंचायत चकिया में जनप्रतिनिधि चुने समस्या को हल करने वाला, अधिकारियों पर अंकुश लगाने वाला, विकासनीति बनाने वाला ….