ATS की रडार पर कई VDO और केंद्र संचालक, आठ पर केस, तीन अरेस्ट; CMO ऑफिस से होता था खेल
खबरी पोस्ट नेशनल न्यूज नेटवर्क
लखनऊ।फर्जी जन्म प्रमाणपत्र के मामले में ATS मुख्य आरोपी संविदा कर्मी अनीता यादव समेत तीन आरोपियों को जेल भेज चुकी है। इन लोगों ने बड़ी संख्या में फर्जी जन्म प्रमाणपत्र बनाए हैं। इस मामले में आधा दर्जन से अधिक लोगों पर नामजद व कई अज्ञात के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत किया गया है। वहीं इस प्रकरण में जिले के कई ग्राम विकास अधिकारी व जन सुविधा केंद्र संचालकों के भी शामिल होने की आशंका है। ऐसे में ATS फर्जीवाड़े में संलिप्त अन्य की तलाश कर रही है।
बड़ी संख्या में फर्जी जन्म, मृत्यु व आधार कार्ड बनाने का चल रहा खेल
रायबरेली के सलोन में फर्जी प्रमाण पत्रों के मामले में ATS और उसकी ऑप्स टीमें प्रदेश के साथ देश के कई राज्यों में छापा मार रही हैं। खासकर बिहार, पूर्वी यूपी और कर्नाटक तथा केरल में पड़ताल चल रही है। इसी क्रम में ATS की नजर आजमगढ़ पर भी थी। जहां बड़ी संख्या में फर्जी जन्म, मृत्यु व आधार कार्ड बनाने का खेल चल रहा था। इसे लेकर ATS जिले में धमक पड़ी।
आजमगढ़ के मुख्य चिकित्साधिकारी कार्यालय में बड़ी कार्यवाही‚कई जिले निशाने पर
ATS टीम ने आजमगढ़ के मुख्य चिकित्साधिकारी कार्यालय में संविदा पर कार्यरत महिलाकर्मी अनीता यादव, शिवानंद और आनंद यादव को भी गिरफ्तार किया। ये सभी नागरिक पंजीकरण प्रणाली (सीआरएस) पोर्टल पर अधिकृत आईडी का दुरुपयोग कर बड़ी संख्या में फर्जी जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र बना रहे थे।
आजमगढ़ सहित वाराणसी के लोगो पर भी हुआ FIR दर्ज – पुलिस अधीक्षक
पुलिस अधीक्षक हेमराज मीना ने बताया कि प्रभारी निरीक्षक भारत भूषण तिवारी की तहरीर पर शहर कोतवाली में आठ नामजद व कई अज्ञात के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत किया गया है। जिसमें जहानागंज थाना क्षेत्र के अकबेलपुर गांव निवासी शिवानंद, निजामाबाद थाना क्षेत्र के बड़ेगांव पक्कनपुर निवासी आनंद यादव उर्फ नन्हे यादव, शहर कोतवाली क्षेत्र के कोल पांडेय निवासी संविदा कर्मी अनीता यादव, दुर्गापुर गांव निवासी एवं अनीता यादव का भतीजा पंकज यादव, कोल पांडेय निवासी सत्यम, जहानागंज थाना क्षेत्र के मंदे बाजार निवासी जावेद, बलरामपुर निवासी आकाश यादव व वाराणसी के विपुल व कई अन्य लोगों के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत किया गया।
ATS की पूछताछ में चौका देने वाले खुलासे –प्रति आईडी पर संविदाकर्मी ले रही थी पांच-पांच हजार रुपये
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ATS की पूछताछ में बड़ा खुलासा हुआ है। जिसमें आरोपी शिवानंद ने बताया कि उसे आईडी लेने के लिए पांच-पांच हजार रुपये देने पड़ते थे। जिससे वह जन्म व मृत्यु प्रमाण पत्र बनाने का काम करता था। ऐसे ही कई चौका देने वाले खुलासे हुए हैं।
पूछताछ में बताया कि आज से लगभग डेढ़ महीने पहले तक सीएमओ आफिस के रीजनल आफिस आजमगढ़ में नियुक्त संविदा कर्मी अनीता यादव द्वारा दिसंबर 2022 में आयुष्मान कार्ड बनाने के दौरान मेरे एक दोस्त के माध्यम से परिचय हुआ।
मैं अपने गांव के दोस्त पंकज कुमार के साथ सीएचसी पर मई 2022 में आय, जाति निवास और श्रम विभाग का कार्ड और आयुष्मान कार्ड बनाने का काम करने लगा। दिसंबर 2022 में उसकी मुलाकात कंधरापुर थाना क्षेत्र के पांडेपोखर गांव निवासी दोस्त अविनाश कुमार से हुई। जिसने बताया कि निजामाबाद के नन्हें उर्फ आनंद कुमार यादव लोगों का सरकारी आईडी पर जन्म व मृत्यु प्रमाण पत्र बनाते है।
पैसा कमाना है तो ग्राम पंचायत सचिव की आईडी लेकर प्रमाण पत्र बनाना शुरू कर दो ‚ऐसे हुआ खेल
अगर पैसा कमाना है ग्राम पंचायत सचिव की आईडी लेकर प्रमाण पत्र बनाना शुरू कर दो। इसके बाद वह नन्हे उर्फ आनंद यादव से उसकी दुकान पर मिला और उससे बात की तो उसने बताया कि मैं तुमको ग्राम पंचायत सचिव की सरकारी आईडी सीएमओ ऑफिस में कार्यरत अनीता यादव से लाकर दे दूंगा। ओटीपी ऑगिन के समय बता दूंगा और बाद में तुम्हारा मोबाइल नंबर भी आईडी पर ऐड करा दूंगा। जिससे तुम्हें ओटीपी तुम्हारे मोबाइल नंबर पर मिलने लगेगी।
एक आईडी का एक महीने के लिए पांच-पांच हजार रुपये
इस काम के लिए एक आईडी का एक महीने के लिए पांच-पांच हजार रुपये देना होगा। फिर शिवानंद ने पांच हजार रुपये देकर एक आईडी ले ली और अपना मोबाइल नंबर दे दिया। जो मोबाइल नंबर दिया था उस नंबर को आईडी पर एड कर दिया गया था। उस पर मुझे ओटीपी मिलने लगे थे।
आईडी पकड़ी न जाए इसके लिए 20 हजार रुपये प्रति माह
पूछताछ में आरोपी ने बताया कि नन्हें उर्फ आनंद कुमार यादव ने कहा कि एक आईडी पर ज्यादा काम हो जाता है। आईडी पकड़ी जा सकती है, इसलिए चार आईडी दूंगा जिसके लिए 20 हजार रुपये प्रति आईडी, प्रति माह लूंगा। इन आईडी पर आप आराम से जन्म प्रमाण पत्र बना सकते हैं।
जनवरी 2023 से शिवानंद ने 80 हजार रुपया देकर अनीता यादव व नन्हे यादव से चार आईडी प्राप्त कर भारी पैमाने पर फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाने लगा। नन्हें उर्फ आनंद कुमार यादव ने जो आईडी दी थी वह कभी-कभी बंद हो जाती थी जिससे काम नहीं हो पाता था। वह उसको चालू करने लिए फिर से पैसा मांगता था, जब उसको फिर पैसा देते थे तो फिर चालू कर देता था।
प्रति प्रमाण पत्र का फिक्स का पैसा
शिवानंद ने बताया कि उसकी मुलाकात पूर्व परिचित मैडम कमलेश से हुई। कमलेश जिला अस्पताल में काम करती थी। मैडम कमलेश ने सीधे जिला अस्पताल में संविदा कर्मचारी अनीता यादव से मिलवाया।
वह जिला के जन्म-मृत्यु प्रमाणपत्र बनाने के लिए ग्राम पंचायत, नगर पंचायत, स्वास्थ्य विभाग की आईडी को जनरेट कर आईडी, पासवर्ड और ओटीपी रिसीव करने वाली ईमेल और मोबाइल नंबर को एड करने का काम करती है, वह इस काम की एडमिन है। फिर मेरी अनीता यादव से बातचीत हुई कि उसे डाटा (जिनका जन्म प्रमाण पत्र बनवाना उनका विवरण) दे दो, मैं प्रमाण पत्र बनवाकर दे दूंगी और प्रति प्रमाण पत्र 100 रुपये तय हुआ था।
चार आई डी का दे रहे थे प्रतिदिन एक हजार
करीब 20 दिनों तक डाटा भेजा जिसका प्रमाण पत्र बनाकर वह उसकी मोबाइल नंबर पर भेजती थी। फिर वह बोली कि यदि तुम कंप्यूटर चलाना जानते हो तो मैं तुम्हें ही आईडी और पासवर्ड दे दूंगी, तुम उससे बना लेना और विभाग में नौकरी भी लगवा दूंगी। फिर आईडी का लेन देन हुआ। चार आईडी का प्रतिदिन एक हजार रुपये तय हुए।
आखिरी क्या है एंटी टेररिस्ट स्क्वाड (एटीएस)
आतंकवाद निरोधक दस्ता, उत्तर प्रदेश में कई ऑपरेशन टीमें एटीएस मुख्यालय पर एवं फील्ड यूनिट्स उत्तर प्रदेश के विभिन्न जनपदों में कार्यरत हैं । ऑपरेशन टीमों एवं फील्ड यूनिटों को सटीक एवं महत्वपूर्ण सहयोग प्रदान करने हेतु एटीएस मुख्यालय पर अन्य विशिष्ट इकाईयां कार्य कर रही हैं ।
प्रदेश की विस्तृत सीमा एवं आतंकवाद/ नक्सलवाद की गम्भीर समस्या के दृष्टिगत उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा वर्ष 2017 में आतंकवाद निरोधक दस्ता के अन्तर्गत Special Police Operations Team (SPOT) का गठन किया गया है । SPOT टीमों को विशेष प्रशिक्षण, हथियार तथा अति आधुनिक तकनीकों से सुसज्जित किया गया है । वर्तमान में SPOT की 05 टीमें हैं जो सामरिक दृष्टि से उत्तर प्रदेश के विभिन्न जनपदों में स्थित है ।